फर्रुखाबाद जिले में एक दिल दहलाने वाली घटना सामने आई। थाना अमृतपुर क्षेत्र के ग्राम करनपुर दत्त के मजरा कुंआं की मढ़ैया में 13 वर्षीय बालिका सुमनलता, जो तीन दिन से लापता थी, का शव एक झोपड़ी में भूसे के ढेर में दबा हुआ मिला। इस खोज ने पूरे गांव में सनसनी फैला दी और पुलिस ने हत्या की आशंका जताते हुए जांच शुरू कर दी है।
सुमनलता, जो करनपुर दत्त ग्राम सभा के मजरा कुंआं की मढ़ैया निवासी महावीर कुशवाहा की बेटी थी, 26 मई 2025 की सुबह 8 बजे घर से पास की परचून की दुकान पर दाल लेने गई थी। दुकान बंद होने के कारण वह गली में कुछ देर रुकी, लेकिन इसके बाद वह लापता हो गई। परिजनों ने पहले खुद उसकी तलाश की, लेकिन जब कोई सुराग नहीं मिला, तो उन्होंने थाना अमृतपुर पुलिस को सूचना दी।
पुलिस ने तलाशी अभियान शुरू किया, जिसमें डॉग स्क्वाड, ड्रोन कैमरे, और कन्नौज से खोजी कुत्तों की मदद ली गई। गांव के हर घर और आसपास के खेतों की छानबीन की गई, लेकिन कोई सुराग नहीं मिला। 28 मई 2025 को एक ग्रामीण, चंद्रकिशोर, पशुओं के लिए भूसा लेने गया, तो उसे भूसे के ढेर से दुर्गंध आई। जांच करने पर सुमनलता का शव मिला, जिसे भूसे में शातिर तरीके से छिपाया गया था।
पुलिस की कार्रवाई
सूचना मिलते ही अपर पुलिस अधीक्षक (एएसपी) डॉ. संजय सिंह पुलिस बल के साथ मौके पर पहुंचे। पुलिस ने शव को कब्जे में लेकर पोस्टमॉर्टम के लिए भेजा। फोरेंसिक टीम ने घटनास्थल से साक्ष्य जुटाए, जिसमें पास की दीवार पर खून के धब्बे शामिल हैं। पुलिस ने गांव के दो लोगों को हिरासत में लेकर पूछताछ शुरू की है। पुलिस अधीक्षक (एसपी) आरती सिंह ने तलाशी अभियान की निगरानी की थी और अब हत्या के कारणों की जांच की जा रही है।
हत्या की आशंका और जांच
पुलिस का मानना है कि सुमनलता की हत्या 28 मई को की गई और शव को उसी दिन भूसे में छिपाया गया। चंद्रकिशोर ने बताया कि 27 मई की शाम को भूसा लेने गया था, तब कोई दुर्गंध नहीं थी, जिससे हत्या हाल की होने का अनुमान है। पास की दीवार पर खून के धब्बे और शव को छिपाने का तरीका हत्या की ओर इशारा करता है। गांव में एक सीसीटीवी कैमरा खराब होने के कारण कोई फुटेज उपलब्ध नहीं है। पुलिस प्रेम प्रसंग, पुरानी रंजिश, या अन्य कारणों की जांच कर रही है।
सुमनलता की मौत से महावीर कुशवाहा के परिवार पर दुख का पहाड़ टूट पड़ा। परिजन उस सुबह को भूल नहीं पा रहे, जब सुमनलता घर से कुछ कदम दूर दुकान पर गई और फिर कभी नहीं लौटी। गांव में इस बात पर हैरानी है कि घर के इतने करीब हत्या हुई, फिर भी किसी को भनक नहीं लगी। आसपास के गांवों—मुझहा, मोकुलपुर, जटपुरा, रैंगापुर, भटोली, नयागांव, और हुसैनपुर हड़ाई—के लोग भी मौके पर जमा हो गए।